खाद्य तेल के आयात पर ड्यूटी बढ़ाए, सूरजमुखी तेल को मुक्त श्रेणी से हटाएं

दि सोयाबीन प्रोसेसर्स एसोसिएशन आफ इंडिया (सोपा) ने खाद्य तेलों के आयात पर नियंत्रण और ड्यूटी आदि की समीक्षा करने की मांग की है।। सोपा ने केंद्रीय वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल के साथ ही तमाम अधिकारियों को भी पत्र लिखा है। सोपा ने देश के किसानों और उद्योगों के हित में चिंता जताते हुए यह मांग की है।

सोपा ने हवाला दिया है कि खाद्य तेलों की कीमतें बीते वर्ष के मुकाबले काफी नीचे आ चुकी है। इस वर्ष तिलहन फसलें बंपर आंकी जा रही है। ऐसे में आयात पर नियंत्रण और निर्यात को बढ़ावा देने के कदम उठाना जरुरी है।

सोपा के अध्यक्ष डा. डेविश जैन ने केंद्र को पत्र भेजा है। आंकड़े पेश करते हुए लिखा गया है कि नई सरसों और राइड़ा की फसल देश की मंडियों में जल्द ही आना शुरू हो जाएगी। इस सीजन में सरसों-राइड़ा का उत्पादन देश में 12 मिलियन यानी 120 लाख टन आंका गया है। जबकि वैश्विक सोयाबीन उत्पादन में 30 मिलियन टन की अतिरिक्त वृद्धि आंकी जा रही है। ब्राजील में बंपर उत्पादन के आधार पर यह आंकलन किया गया है।
सोपा ने केंद्र को लिखा है कि ऐसे में जब नई फसल की आवक देश के बाजारों में होने जा रही है तो सरकार को खाद्य तेलों के आयात पर ड्यूटी बढ़ाना चाहिए। इससे देश के बाजारों में किसानों को अपनी उपज का सही मूल्य मिल सकेगा। सोपा ने सुझाव दिया है कि सनफ्लावर आइल के ड्यूटी फ्री टैरिफ रेट कोटा की समीक्षा करते हुए उसे खत्म किया जाना चाहिए।

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Author: jtvbharat