सनातन संस्कृति में गुरु पूर्णिमा का एक महत्वपूर्ण स्थान – मिश्र

शिक्षक सम्मान समारोह आयोजित

गौरव टांकवाल पिपलौदा । जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान पिपलोदा के छात्र अध्यापकों ने गुरु पूर्णिमा के उपलक्ष में डाइट के प्राचार्य व्याख्याता एवं शिक्षकों का सम्मान समारोह जिला दिव्यांग छात्रावास मे रखा गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रसिद्ध रंगकर्मी एवं सेवानिवृत प्राचार्य ओम प्रकाश मिश्र थे, कार्यक्रम की अध्यक्षता डाइट प्राचार्य अनीता सागर द्वारा की गई। विशेष अतिथि के रूप में व्याख्याता डॉ नरेंद्र कुमार गुप्ता, भंवरलाल सोनी, राजेंद्र राव भोगलेकर, संगीता भट्ट अलका आचार्य उपस्थित थे। कार्यक्रम के प्रारंभ में मां सरस्वती के चित्र पर माल्या अर्पण कर शुभारंभ किया। तत्पश्चात छात्र अध्यापकों द्वारा अतिथियों का स्वागत पुष्पहार से किया गया, छात्र अध्यापकों द्वारा शिक्षकों को उपहार भेंट किए गए। तत्पश्चात डाइट स्टाफ एवं छात्र अध्यापकों द्वारा ओम प्रकाश मिश्र का शाल श्रीफल से सम्मान किया। गया साथ ही दिव्यांग छात्रावास के वार्डन अंबाराम बोस का भी सम्मान किया गया। अपने अतिथि उद्बोधन में रंगकर्मी ओम प्रकाश मिश्रा ने कहा कि सनातन संस्कृति में गुरु पूर्णिमा का एक महत्वपूर्ण स्थान है, माता-पिता के के बाद सर्वश्रेष्ठ स्थान किसी का है तो वह गुरु है एक गुरु ही है जो सत्य और असत्य दोनों से परिचय करवाते हुए, सत्य की ओर यानी प्रकाश की ओर ले जाने का कार्य यदि कोई करता है तो वह सिर्फ सिर्फ गुरु ही है। इसके पश्चात छात्र अध्यापक, डाइट स्टाफ, दिव्यांग छात्र स्टॉप के द्वारा वृक्षारोपण किया गया। नीम एवं विभिन्न प्रजातियों के 20 पौधे लगाए गए। गुरु पूर्णिमा के अवसर पर डाइट के वरिष्ठ व्याख्याता डॉ नरेंद्र कुमार गुप्ता द्वारा दिव्यांग छात्रों के पुस्तकालय हेतु एक अलमारी भेंट की गई। तथा व्याख्याता अलका आचार्य द्वारा सभी छात्रों को पानी की बोटल प्रदान की गई। इस अवसर पर डाइट स्टॉफ दिव्यांग छात्रावास स्टॉप, समस्त छात्र अध्यापक उपस्थित थे। आभार प्रदर्शन वार्डन अंबाराम बोस द्वारा किया गया।

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Author: jtvbharat