चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने शुक्रवार को हड़ताल कर रहे चिकित्सा महासंघ के पदाधिकारियों से मुलाकात की। इस दौरान मंत्री ने आश्वस्त किया कि डॉक्टरों की मांगों पर विचार करने के लिए हाई पावर कमेटी बनाई जाएगी। इस आश्वासन के बाद डॉक्टरों ने प्रदेशव्यापी हड़ताल खत्म करने का निर्णय लिया है।
डॉक्टरों के प्रतिनिधियों से मुलाकात के बाद सारंग ने कहा कि चिकित्सा महासंघ के पदाधिकारियों के साथ चर्चा के दौरान हाई पावर समिति के गठन का निर्णय लिया गया है। यह समिति चिकित्सकों की मांगों पर विचार कर सरकार को रिपोर्ट सौंपेगी। सरकार समिति के सुझावों पर विचार कर समयसीमा में निर्णय लेगी। उन्होंने बताया कि समिति में चिकित्सा महासंघ के तीन प्रतिनिधि भी शामिल होंगे। महासंघ में विभिन्न विभागों का प्रतिनिधित्व भी रहेगा। इस वजह से हाई पावर समिति में महासंघ के प्रतिनिधियों को शामिल किया जाएगा।
राज्य सरकार मांगों को लेकर संवदेनशील
मंत्री सारंग ने कहा कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में राज्य सरकार संवाद स्थापित कर हर वर्ग के कल्याण और उनके समस्याओं के निराकरण के लिए कार्य करती है। चिकित्सकों की मांगों को लेकर राज्य सरकार संवदेनशीलता और दृढ़ता के साथ विचार कर शीघ्र ही निर्णय लेगी। प्रदेश की चिकित्सा व्यवस्था में कहीं कोई दिक्कत नहीं आई है। सभी चिकित्सक काम कर रहे हैं। सभी मरीजों का इलाज निरंतर जारी है।
डॉक्टरों ने दो घंटे काम बंद रखा था
मध्यप्रदेश के दस हजार डॉक्टरों ने अपनी मांगों को लेकर गुरुवार को दो घंटे काम बंद रखा था। भोपाल में डॉक्टरों ने सरकार की सद्बुद्धि के लिए यज्ञ किया। यज्ञ में मेडिकल इक्यूपमेंट की आहुति दी गई। इस दौरान अस्पताल आने वाले मरीज परेशान हुए थे। डॉक्टरों ने 17 फरवरी से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने का एलान किया था। भोपाल के गांधी मेडिकल कॉलेज में दो घंटे काम बंद होने की वजह से एक दर्जन ऑपरेशन टालने पड़े। ओपीडी में आए मरीज भी परेशान होते रहे। डॉक्टर डायनेमिक एश्योर्ड कॅरियर प्रोग्रेशन (डीएसीपी) लागू करने, पुरानी पेंशन बहाली, मेडिकल वर्क में प्रशासनिक अधिकारियों की दखलअंदाजी बंद करने, संसाधन उपलब्ध कराने जैसी मांगों को लेकर हड़ताल पर थे। फिलहाल मंत्री के आश्वासन के बाद हड़ताल खत्म कर दी गई है।